दिल्ली-एनसीआर में रोल-ऑन, रोल-ऑफ (रो-रो सर्विस) के पायलट प्रोजेक्ट की रेलवे ने शुरुआत कर दी है। दरअसल, रो-रो का मतलब है कि मालगाड़ियों पर माल से लदे ट्रकों को चढ़ाकर ले जाना और उनको एक निर्धारित पॉइंट से उतारना है। गुडगाँव(गुरुग्राम) के गढ़ी हरसरू से उत्तर-प्रदेश के मुरादनगर तक इस सेवा के शुरू होने से राजधानी दिल्ली की सडको पर ट्रको की भीड़-भाड़ से बहुत हद तक छुटकारा मिलने की उम्मीद है। सड़क विशेषज्ञों की राय में दिल्ली में एक तिहाई वायु प्रदुषण (30 प्रतिशत पार्टिकुलेट मैटर तथा 22 प्रतिशत नाइट्रोजन ऑक्साइड) का कारण ट्रैफिक है। रोजाना तक़रीबन 66 हजार ट्रक दिल्ली से होकर गुजरते है, जिनमे 25 हजार भारी ट्रक होते है। इनके प्रवेश और निकास के 127 पॉइंट है। इस सेवा के शुरू होने से यह उम्मीद जगी है कि इससे दिल्ली में यातायात व्यवस्था में सुधार के साथ-साथ प्रदूषण में भी कमी आएगी। उल्लेखनीय है कि रो-रो सेवा सबसे पहले कोंकण रेलवे में शुरू की गई थी
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